
सिरमौर में गुर्जरों के डेरे में भीषण अग्निकांड, जिंदा जले बकरी के दो बच्चे
पोल खोल न्यूज़ | सिरमौर
जिला सिरमौर के माजरा क्षेत्र के पास गुर्जरों के डेरे में सोमवार देर शाम को अचानक भीषण आग लग गई, जिससे उनकी करीब 15 झोपड़ियां जल गई हैं। इसके साथ ही झोपड़ियों के अंदर रखा सामान भी जलकर राख हो गया है। आग इतनी भंयकर थी की पूरे गांव में देर रात को अफरा-तफरी मच गई। स्थानीय लोगों ने आग बुझाने की बहुत कोशिश की, लेकिन आग की तेज लपटों ने सारी झोपड़ियों को अपनी चपेट में ले लिया। वहीं, इस अग्निकांड में बकरी के दो बच्चे जिंदा जल गए, जबकि एक मोटरसाइकिल भी जलकर राख हो गई।
ग्रामीणों ने बताया कि उन्होंने आग बुझाने की पूरी कोशिश की, लेकिन तेज हवा और आग की बड़ी-बड़ी लपटों के कारण स्थिति बेकाबू हो गई। सूचना मिलते ही अग्निशमन विभाग मौके पर पहुंचा, मगर तब तक 15 झोपड़ियों जलकर राख हो चुकी थी। अग्निकांड की घटना से प्रभावित परिवारों ने बताया कि उनकी आंखों के सामने ही उनकी खून-पसीने की कमाई से बना उनका आशियाना राख में तब्दील हो गया।
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वहीं, अग्निकांड की सूचना मिलते ही नायब तहसीलदार इंदर सिंह मौके पर पहुंचे और हालात का जायजा लिया। नायब तहसीलदार ने पीड़ित परिवारों को भरोसा दिलाया कि उन्हें मुआवजा दिलाने की कोशिश की जाएगी। प्रशासन के मुताबिक इस घटना में किसी इंसानी जान का तो नुकसान नहीं हुआ है, लेकिन बकरी के दो बच्चे जिंदा ही आग की भेंट चढ़ गए।
नायब तहसीलदार इंदर सिंह ने बताया कि शाम पांच बजे सूचना मिली की गुर्जर बस्ती में अग्निकांड हुआ है। यहां कच्चे मकान थे, जो कि सारे सामान के साथ जल गए हैं। गनीमत रही की लोगों और उनके पशुओं का थोड़ा बचाव हो गया है। हमने इनके रहने और खाने-पीने का इंतजार कर दिया है। विभाग द्वारा नुकसान की रिपोर्ट बनाई जा रही है।
गुर्जरों के डेरे में रहने वाले परिवारों ने कहा कि इस अग्निकांड में उनका सब कुछ जलकर राख हो गया है। अब तो उनके पास सिर ढकने के लिए छत भी नहीं बची है। ऐसे में पीड़ित परिवारों ने सरकार से गुहार लगाई है कि उन्हें जल्द से जल्द राहत और मुआवजा राशि दी जाए, ताकि वे फिर से अपने घरों को बना सकें। वहीं, इस पीड़ित परिवारों के लोगों का रो-रो कर बुरा हाल है। ऐसे में पीड़ितों को अब सरकारी मदद का इंतजार है। स्थानीय ग्रामीणों ने बताया कि रात करीब 11 बजे अग्निशमन विभाग ने आग पर काबू पाया, लेकिन तब तक गुर्जरों के डेरे जलकर राख हो गए थे। जिससे दर्जनों परिवार बेसहारा हो गए हैं।