
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 2025: कब और क्यों महत्वपूर्ण है….
पोल खोल न्यूज़ डेस्क | हमीरपुर
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस हर साल 8 मार्च को मनाया जाता है। यह दिन महिलाओं के अधिकारों, समानता और उनके योगदान को पहचानने और सम्मान देने के लिए समर्पित है। इसकी शुरुआत 1908 में हुई जब न्यूयॉर्क में 15,000 महिलाओं ने कम काम के घंटे, बेहतर वेतन और मतदान के अधिकार की मांग करते हुए प्रदर्शन किया। इसके बाद 1910 में क्लारा जेटकिन ने इसे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मनाने का सुझाव दिया, जिसे 1911 में ऑस्ट्रिया, डेनमार्क, जर्मनी और स्विट्जरलैंड में पहली बार मनाया गया।
8 मार्च को ही क्यों मनाया जाता है?
8 मार्च को इसे मनाने की वजह 1917 की रूसी महिलाओं की हड़ताल थी, जिसमें उन्होंने “रोटी और शांति” की मांग की। चार दिन बाद, इस हड़ताल के दबाव में ज़ार निकोलस द्वितीय को गद्दी छोड़नी पड़ी और महिलाओं को मतदान का अधिकार मिला। यह हड़ताल रूसी जूलियन कैलेंडर के अनुसार 23 फरवरी को हुई थी, जो ग्रेगोरियन कैलेंडर में 8 मार्च के रूप में आई। इसी कारण इसे इस दिन मनाने की परंपरा बनी।
कैसे मनाया जाता है?
दुनिया भर में इस दिन को अलग-अलग तरीकों से मनाया जाता है। कई देशों में इसे राष्ट्रीय अवकाश के रूप में मान्यता प्राप्त है। चीन में महिलाओं को आधे दिन की छुट्टी दी जाती है, जबकि इटली में इसे “Festa della Donna” के रूप में जाना जाता है और इस दिन महिलाओं को मिमोसा फूल गिफ्ट किए जाते हैं। रूस में इस दिन फूलों की बिक्री दोगुनी हो जाती है, जबकि अमेरिका में पूरा मार्च महीना “महिला इतिहास माह” के रूप में मनाया जाता है।
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महिला दिवस के रंग और उनका महत्व
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर बैंगनी, हरा और सफेद रंग पहने जाते हैं। बैंगनी रंग न्याय और गरिमा का प्रतीक है, हरा रंग आशा को दर्शाता है, जबकि सफेद रंग पवित्रता को दर्शाता है, हालांकि यह एक विवादास्पद अवधारणा है। ये रंग ब्रिटेन की WSPU (Women’s Social and Political Union) द्वारा महिला मताधिकार आंदोलन के दौरान अपनाए गए थे।
अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस 2025 की थीम
2025 में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की थीम “सभी महिलाओं और लड़कियों के लिए: अधिकार। समानता। सशक्तिकरण।” रखी गई है। यह थीम सभी महिलाओं को सशक्त बनाने और समाज के हर क्षेत्र में उनकी समान भागीदारी सुनिश्चित करने की आवश्यकता को दर्शाती है।
इस अवसर पर हमें अब तक हुई प्रगति को पहचानना चाहिए और यह भी सोचना चाहिए कि एक अधिक समावेशी और न्यायसंगत समाज बनाने के लिए अभी और क्या कदम उठाने जरूरी हैं। जब तक हर महिला को समान अवसर, अधिकार और सम्मान नहीं मिलेगा, तब तक असली प्रगति संभव नहीं होगी। इस दिन को एक नए संकल्प के रूप में लेते हुए हमें महिलाओं के सशक्तिकरण और लैंगिक समानता की दिशा में मिलकर काम करना चाहिए।
महिला दिवस क्यों महत्वपूर्ण है?
यह दिन महिलाओं के अधिकारों की प्रगति और आज भी मौजूद चुनौतियों को उजागर करने के लिए महत्वपूर्ण है। अफगानिस्तान में लड़कियों की शिक्षा पर प्रतिबंध है, ईरान में हिजाब नियमों का विरोध करने वाली महिलाओं पर कड़ी कार्रवाई हो रही है, और सूडान में महिलाओं का अपहरण कर जबरन शादी करवाई जा रही है। ग्लोबल जेंडर गैप इंडेक्स 2023 के अनुसार, अभी तक कोई भी देश पूर्ण लैंगिक समानता हासिल नहीं कर पाया है, और इसे प्राप्त करने में 100 साल से अधिक का समय लग सकता है।