
शरद पूर्णिमा आज, शरद पूर्णिमा के दिन आखिर क्यों बनाई जाती है खीर, यहां जानिए इसके पीछे की मान्यता
पोल खोल न्यूज़ डेस्क । हमीरपुर
साल की 12 पूर्णिमाओं में से शरद पूर्णिमा की तिथि का विशेष महत्व होता है। इस साल शरद पूर्णिमा 16 अक्तूबर बुधवार को है। शरद पूर्णिमा को चांदनी रात में खीर बनाने का खास महत्व है क्योंकि मान्यता है कि इस दिन चांद से अमृत वर्षा होती है। ऐसे में शरद पूर्णिमा की रोशनी में खीर रखकर अगले दिन खाने से शरीर को कई फायदे मिलते हैं। इसके अलावा और क्या मान्यताएं जुड़ी हुई हैं शरद पूर्णिमा पर खीर बनाने को लेकर, जानते हैं…..
शरद पूर्णिमा पर क्यों बनाई जाती है खीर
ऐसी मान्यता है कि इस दिन चंद्रदेव 16 कलाओं से परिपूर्ण होकर अमृत वर्षा करते हैं। यही वजह है कि शरद पूर्णिमा की चांदनी रात में खीर रखने से उसमें अमृत घुल जाता है। इसके अलावा शरद पूर्णिमा को मां लक्ष्मी के प्राकट्योत्सव के रूप में मनाया जाता है। यह भी एक वजह है कि शरद पूर्णिमा पर मां लक्ष्मी को प्रिय खीर का भोग लगाकर प्रसाद के रूप में खाने से मां लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होता है।
इस दिन तो कुछ लोग मिट्टी के घड़े में पानी भरकर रखते हैं फिर अगली सुबह इस पानी से नहाते हैं. ऐसी मान्यता है कि इससे रोग-दोष दूर होते हैं।
ये भी पढ़ें:International Kullu Dussehra: शृंगा ऋषि और बालू नाग इस बार भी रहे नजरबंद
शरद पूर्णिमा खीर खाने के फायदे
मान्यता है कि शरद पूर्णिमा की खीर खाने से कई रोगों से मुक्ति मिल सकती है, खासकर चर्म रोगियों के लिए फायदेमंद मानी जाती है। इसके अलावा, यह आंखों की रोशनी बढ़ाने में भी मदद कर सकती है। मान्यता है कि प्रसाद के रूप में यह खीर खाने से आपको कभी धन की कमी का सामना नहीं करना पड़ेगा और मां लक्ष्मी का आशीर्वाद आप पर सदैव बना रहेगा।
शरद पूर्णिमा मुहूर्त 2024
पूर्णिमा का मुहूर्त 16 अक्टूबर को 08 बजकर 40 मिनट से शुरू होगा, जो अगले दिन यानी 17 अक्टूबर को शाम 4 बजकर 55 मिनट तक रहेगा। इस दिन चंद्रोदय शाम 5 बजकर 04 मिनट पर होगा। आपको बता दें कि शरद पूर्णिमा का व्रत चांद के दर्शन करके खोला जाता है।