
हिमाचल की NCC कैडेट कृतिका ने माउंट एवरेस्ट किया फतह, रचा इतिहास
पोल खोल न्यूज़ | सिरमौर
हिमाचल प्रदेश की बेटी कृतिका शर्मा ने माउंट एवरेस्ट पर विजय पताका फहराकर न केवल हिमाचल प्रदेश बल्कि देश भर को गौरवान्वित किया है। होनहार बेटी की इस बड़ी उपलब्धि पर हिमाचल के मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू समेत कई लोगों ने उन्हें इस उपलब्धि पर बधाई दी है।
बता दें कि कृतिका एनसीसी की कैडेट हैं और जिला सिरमौर के पांवटा साहिब कॉलेज की बीए सेकेंड ईयर की छात्रा है। 19 साल की कृतिका ने माउंट एवरेस्ट शिखर की सफल चढ़ाई पर फर्स्ट एचपी गर्ल्स बटालियन एनसीसी सोलन ने भी खुशी जाहिर की है। 1 एचपी गर्ल्स बटालियन एनसीसी, सोलन की ओर से बताया गया कि कृतिका ने 18 मई 2025 को माउंट एवरेस्ट के शिखर को सफलतापूर्वक फतह किया है। उनका यह असाधारण साहसिक कार्य न केवल उनके महाविद्यालय और बटालियन, बल्कि पूरे हिमाचल प्रदेश एनसीसी समूह के लिए गौरव का विषय है।
1 एचपी गर्ल्स बटालियन एनसीसी के अनुसार हमारे लिए अत्यंत गर्व और सम्मान की बात है कि कैडेट कृतिका ने माउंट एवरेस्ट के शिखर को सफलतापूर्वक फतह किया है। उनका ये असाधारण साहसिक कार्य न केवल उनके कॉलेज और बटालियन, बल्कि पूरे हिमाचल प्रदेश एनसीसी समूह के लिए गौरव का विषय है।
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वहीं, दूसरी तरफ मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने भी सिरमौर ज़िला के गत्ताधार गांव की निवासी एनसीसी कैडेट कृतिका शर्मा को बधाई दी है, जिन्होंने माउंट एवरेस्ट पर अपनी विजय पताका को फहराते हुए नया कीर्तिमान स्थापित कर हिमाचल प्रदेश का नाम देशभर में रोशन किया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि कृतिका की यह उपलब्धि युवाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत बनेगी।उन्होंने कृतिका को उनकी इस सफलता के लिए हार्दिक बधाई एवं उज्जवल भविष्य की शुभकामनाएं दी। मुख्यमंत्री के अलावा हिमाचल प्रदेश के डिप्टी सीएम मुकेश अग्निहोत्री और पूर्व मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर समेत कई नेताओं ने कृतिका की उपलब्धि पर खुशी जाहिर की है और दुनिया की सबसे ऊंची चोटी को फतेह करने पर सोशल मीडिया के जरिये शुभकामनाएं दी हैं।
एनसीसी की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक कैडेट कृतिका की इस ऐतिहासिक यात्रा की शुरुआत 4 अगस्त 2024 को हुई, जब उन्हें तत्कालीन कमांडिंग ऑफिसर कर्नल संजय शांडिल ने माउंट एवरेस्ट अभियान के लिए चयनित किया। उनकी प्रतिभा को पहचानते हुए उन्हें कठोर और विशिष्ट प्रशिक्षण प्रदान किया गया, जिसमें कई ट्रायल कैंप, एक बेसिक माउंटेनियरिंग कोर्स और एक एडवांस माउंटेनियरिंग अभियान शामिल थे। इस प्रशिक्षण ने कृतिका को इस चुनौतीपूर्ण कार्य के लिए शारीरिक और मानसिक रूप से पूरी तरह तैयार किया।
इस पूरे अभियान के दौरान कर्नल संजय शांडिल कृतिका के लिए प्रेरणा और मार्गदर्शन के स्तंभ बने रहे। उन्होंने हर चरण पर कृतिका को प्रोत्साहित किया और उनके आत्मविश्वास को बढ़ाया। उनका मार्गदर्शन और विश्वास कैडेट कृतिका के मनोबल को ऊंचा बनाए रखने में महत्वपूर्ण रहा। इसी के चलते अपने दृढ़ संकल्प, अनुशासन और साहसिक भावना के बल पर कैडेट कृतिका ने दुनिया की सबसे ऊंची चोटी पर तिरंगा फहराया और आज के युवाओं के लिए एक प्रेरणा बन गईं।
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कृतिका बटालियन की दूसरी कैडेट बनीं हैं, जिन्होंने एवरेस्ट शिखर को फतह किया है. इससे पहले कैडेट बलजीत कौर ने यह गौरव प्राप्त किया था। उधर कैडेट कृतिका की यह उपलब्धि आज के युवाओं को नशे और सोशल मीडिया की लत से दूर रहने और अपनी ऊर्जा को पर्वतारोहण एवं खेलों जैसी चुनौतीपूर्ण और रचनात्मक गतिविधियों में लगाने के लिए प्रेरित करती है।
वहीं कर्नल संजय शांडिल ने कैडेट कृतिका और उनकी एसोसिएट एनसीसी ऑफिसर लेफ्टिनेंट पूजा भट्टी को इस अद्वितीय सफलता के लिए हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं दी हैं, जिन्होंने एक बार फिर फर्स्ट एचपी गर्ल्स बटालियन एनसीसी सोलन का परचम वैश्विक मंच पर गर्व से लहराया है। कर्नल शांडिल ने आज के युवाओं से भी आह्वान किया कि ‘वो कैडेट कृतिका के मार्ग का अनुसरण करें और खेल, साहसिक गतिविधियों सहित राष्ट्र निर्माण में सक्रिय रूप से भाग लें, जिससे वे स्वयं और देश दोनों को गौरवान्वित कर सकें।